Gold Price Today : 361 जिलों में लागू हो चुकी है अनिवार्य हालमार्किंग व्यवस्था 1,94,039 ज्वेलर जुड़ हालमार्किंग व्यवस्था से देश में 1,622 हो गई है देश में हालमार्क करने वाले केंद्रों की संख्या 40 करोड़ जेवरों की हालमार्किंग हो चुकी है अब तक देश में
What is Hallmarking : क्या होती है हालमार्किंग
सोने की शुद्धता को सत्यापित करने की प्रक्रिया को हालमार्किंग कहा जाता है। बीआइएस ने 14, 18, 22, 23 और 24 कैरेट से बने आभूषणों और कलाकृतियों पर हालमार्किंग को अनिवार्य किया हुआ है। यह कदम सोने की खरीदारी सुरक्षित बनाने और ग्राहकों को धोखाधड़ी से बचाने के लिए उठाया गया है।
सोना भारतीयों के बीच काफी लोकप्रिय है। शादी-ब्याह में सोने के जेवर को उपहार में देना शुभ माना जाता है। इसके अलावा भी भारतीय पूरे वर्ष सोने की ज्वेलरी की खरीदारी करते हैं। भारत में अक्सर ज्वेलरी की खरीदारी परंपरागत दुकानों से ही की जाती है, यहां सोने में मिलावट की गुंजाइश बनी रहती है।
ऐसी धोखाधड़ी से बचाने के लिए भारतीय मानक ब्यूरो (बीआइएस) ने हालमार्किंग की व्यवस्था शुरू की है। इसके तहत सोने की ज्वेलरी पर बीआइएस हालमार्किंग को अनिवार्य बनाया गया है। आप ज्वेलरी खरीदते समय इसकी अच्छी तरह से जांच-पड़ताल कर सकते हैं। बीआइएस हालमार्किंग के ज़रिये सोने की शुद्धता जांचने करने की प्रक्रिया बता रही है
छह अंक वाला एचयूआइडी
सोने के प्रत्येक जेवर को छह अंक का एक हालमार्क यूनिक आइडेंटिफिकेशन (एचयूआइडी) दिया जाता है। प्रत्येक जेवर के लिए अलग और यूनिक कोड दिया जाता है। इस अल्फान्यूमेरिक कोड को बीआइएस केयर एप के जरिये सत्यापित भी किया जा सकता है। यदि इस एप पर यह कोड सत्यापित नहीं होता है तो वह जेवर नकली भी हो सकता है।
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बीआइएस लोगो
सोने के जेवर पर बीआइएस का लोगो त्रिभुज, तिकोना या त्रिकोण आकार में होता है। जेवर पर इस लोगो का होना बताता है कि खरीदी जा रही ज्वेलरी की बीआइएस केंद्र पर जांच की गई है।
कितने कैरेट में कितना सोना
कैरेट हालमार्क शुद्धता (% में)
24 कैरेट- 999 हालमार्क 99.9 शुद्धता
23 कैरेट 958 हालमार्क 95.8 शुद्धता
22 कैरेट 916 हालमार्क 91.6 शुद्धता
16 कैरेट 750 हालमार्क 75.0 शुद्धता
14 कैरेट 585 हालमार्क 58.5 शुद्धता
शुद्धता का ग्रेड
शुद्धता का ग्रेड यह चिह्न सोने के जेवर की शुद्धता और उसमें कितना प्रतिशत सोना है, इसकी जानकारी बताता है। उदाहरण के लिए सोने का कोई जेवर 22 कैरेट का है तो उस 22K916 लिखा होगा। इसका अर्थ यह है कि आप जो जेवर खरीद रहे हैं उसमें 22 कैरेट या 91.6 प्रतिशत सोना है और 8.4 प्रतिशत दूसरी धातु हैं।
इसी तरह 18K750 का मतलब है कि जेवर में 18 कैरेट या 75 प्रतिशत सोना है और. 75 प्रतिशत दूसरी धातु हैं। बता दें कि भारत में शुद्ध सोने यानी 24 कैरेट वाले सोने से जेवर नहीं बनाए जाते हैं। यह सोना जेवर बनाने के लिए काफी हल्का होता है। इसीलिए इसमें दूसरी धातुएं मिलाई जाती हैं।
वर्ष 2000 में शुरू हुई थी हालमार्किंग
केंद्र सरकार ने सोने के जेवरों पर बीआइएस हालमार्किंग की व्यवस्था वर्ष 2000 में शुरू की थी। इसके बाद एक जुलाई 2021 से सोने के जेवरों पर होने वाली हालमार्किंग के चिह्नों में बदलाव किया गया। अब इन जेवरों पर केवल तीन चिह्न होते हैं। इसमें बीआइएस का लोगो, शुद्धता का ग्रेड और छह अंकों वाला हालमार्क यूनिक आइडेंटिफिकेशन (एचयूआइडी) नंबर शामिल है। इनसे आप सोने की शुद्धता की जांच कर सकते हैं। यदि खरीदारी के समय आपको जेवर पर बीआइएस हालमार्किंग न दिखे तो आप ज्वेलर से भी इसे दिखाने के लिए कह सकते हैं।
हालमार्किंग शुल्क
बीआइएस हालमार्किंग वाले जेवरों की खरीदारी पर ग्राहकों से शुल्क भी लिया जाता है। इस समय यह शुल्क 45 रुपये प्रति जेवर है। यह एक स्थायी शुल्क होता है जो जेवर के वजन से जुड़ा नहीं होता है।
जनवरी 2025 से सभी जेवरों पर हालमार्किंग
केंद्र सरकार जनवरी 2025 से सोने के सभी जेवरों पर हालमार्किंग को अनिवार्य बनाने जा रही है। इसके साथ आयात किए जाने वाले और ज्वेलर्स की ओर से खरीदे जाने वाले सोने पर भी हालमार्क को- अनिवार्य बनाया जाएगा।